प्यार

             प्यार                    


प्यार
एक एहसास है, मीठा एहसास
जो महसूस होता है, 
जीवन की अंधी दौड़ में 
तपती धुप में,
लू के थपेड़ों से जूझता इंसान 
तलाशता है - एक छाँव 
शीतल छाँव - प्यार | 

प्यार - एक सहारा है 
उनके लिए- जो थक गए हैं - कठिनाइयों से 
भटके हैं- जीवन की राह में | 
मार्गदर्शक हैं- उनके लिए 
जो तलाश रहे हैं - मंज़िल को | 

प्यार पुष्प है 
महकता है जीवन को 
संगम है- दिलों का 
बयार है बसंत की 
इसका कोई नाम नहीं 
इसकी कोई पहचान नहीं 
ये बसता है- दिलों में हमारे ||

अजय कुमार पाण्डेय 

कोई टिप्पणी नहीं:

एक टिप्पणी भेजें

तब तुम आना पास प्रिये

तब तुम आना पास प्रिये जब मन में सुंदर भाव बनें जब पुष्प सुगंधित खिल जाएंँ जब दिल के उस सूनेपन में निष्कपट ज्योति सी जल जाये जब प्रेम मधुर हो...