कह दो तो बतलाऊँ मैं।
कह दो तो दिखलाऊँ मैं
अंतर्मन के भावों को
कह दो तो बतलाऊँ मैं।
मन में इक आकाश बुना है
कह दो तो दिखलाऊँ मैं
प्रतिपल तुमको पास सुना है
कह दो तो बतलाऊँ मैं।
और खयालों में मेरे
नहीं कभी कुछ और रहा
बस तेरी ही बातें समझी
नहीं कभी कुछ और कहा।
तुमसे ही आकाश मेरा
कह दो तो दिखलाऊँ मैं
तस्वीरों में तुमको देखा
कह दो तो बतलाऊँ मैं।।
✍️©️अजय कुमार पाण्डेय
हैदराबाद
09फरवरी, 2021
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